देशभर के 23 आइआइटी संस्थानों (IIT Institutions) की 12463 सीटों पर प्रवेश के लिए आइआइटी, दिल्ली की ओर से 17 मई को जेईई एडवांस्ड परीक्षा (JEE Advanced Exam) होगी। दो पारियों सुबह 9 से 12 तथा दोपहर 2.30 से शाम 5.30 बजे तक होने वाली परीक्षा से संबंधित सभी एफएक्यू (फ्रिक्वेंटली आस्क क्यूशचंस) FAQ (Frequently Asked Questions) के जवाब जारी कर दिए गए हैं। दरअसल, जेईई एडवांस्ड परीक्षा के लिए बच्चों ने परीक्षा कराने वाली संस्था से इंटरनेट पर स्वतंत्र रूप से सवाल पूछे थे, जिनके कि जवाब जारी किए गए हैं। वहीं, 30 अप्रेल को जेईई मेन के जारी होने वाले परिणामों के आधार पर चुने गए शीर्ष 2.45 लाख विद्यार्थी उक्त परीक्षा के लिए पात्र घोषित होंगे। इसके अलावा जेईई एडवांस्ड परीक्षा का परिणाम 8 जून को घोषित होगा।
कॅरियर काउंसलिंग एक्सपर्ट अमित आहूजा ने बताया कि जारी किए गए एफ एक्यू के अनुसार जेईई (JEE) एडवांस्ड के ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन के दौरान ओबीसी एवं ईडब्ल्यूएस श्रेणी के विद्यार्थियों को अपना संबंधित कैटेगिरी दस्तावेज एक अप्रेल के बाद देना आवश्यक है। कैटेगिरी का प्रमाणपत्र नहीं होने की स्थिति में विद्यार्थी डिक्लेरेशन देकर सामान्य श्रेणी में जा सकता है। शारीरिक विकलांगता श्रेणी के पात्र विद्यार्थियों को जेईई एडवांस्ड परीक्षा के दोनों पेपर्स में एक-एक घंटे अतिरिक्त दिया जाएगा।
टाई होने पर ऐसे निकलेगी एआइआर
जेईई एडवांस्ड परीक्षा में दो या अधिक विद्यार्थियों के समान अंक आने पर गणित विषय के अधिक अंकों को प्राथमिकता दी जाएगी। गणित में भी अंक समान होने पर भौतिक शास्त्र के अंकों का मिलान होगा। इस स्थिति में अंक समान होने पर टाई घोषित करते हुए छात्रों को समान रैंक दी जाएगी।
सीट विड्रॉवल पर मिलेगा मौका
गत वर्ष जोसा काउंसलिंग के लिए दौरान जिन विद्यार्थियों ने
आइआइटी आवंटित होने पर सीट असेप्टेंस फीस का भुगतान कर रिपोर्टिंग सेंटर पर रिपोर्ट नहीं किया और साथ ही रिपोर्ट कर सीट विड्रॉअल करवा ली, वे इस वर्ष जेईई एडवांस्ड देने के पात्र हैं। एनआइटी में अध्ययनरत विद्यार्थी भी जेईई एडवांस्ड परीक्षा देने के पात्र होंगे।
इम्प्रूवमेंट देने वाले छात्रों को राहत
जेईई एडवांस्ड द्वारा आईआईटी में प्रवेश के लिए विद्यार्थियों को सामान्य, ओबीसी व ईडब्ल्यूएस के लिए 75 एवं एससी-एसटी के लिए 65 प्रतिशत अथवा श्रेणी अनुसार टॉप 20 पर्सेन्टाइल में आना अनिवार्य है। छात्रों द्वारा 75 प्रतिशत एवं श्रेणी अनुसार 65 प्रतिशत की बोर्ड पात्रता को पूरा नहीं करने की स्थिति में वह एक या एक से अधिक विषयों में इम्प्रूवमेंट परीक्षा दे सकता है। इस स्थिति में विद्यार्थियों की दोनों अंक तालिकाओं में से विषयवार अधिक अंक लेकर बोर्ड की पात्रता देखी जाएगी, जबकि टॉप 20 पर्सेन्टाइल की पात्रता के लिए विद्यार्थियों को सारे विषयों में इम्प्रूवमेंट परीक्षा देनी होगी।
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